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आरोपी इंस्पेक्टर को ही मिली जांच, निष्पक्षता का सवाल!

फतेहपुर। जनपद में पुलिस का एक ऐसा कारनामा सामने आया है, जहां आरोपी इंस्पेक्टर को ही अपनी जांच करने को दिया गया है। खागा में एक वेशकीमती जमीन को भूमाफियों से सांठगांठ कर कोतवाली प्रभारी ने पीड़िता व उसके बेटों को कोतवाली बुलाकर धमकी भरे लहजे में जमकर प्रताड़ित किया। उसके बाद जमीन को भूमाफियों को जबरन बैनामा करने का दबाव बनाया, अन्यथा की स्थित में पीड़िता सहित परिवार पर संगीन धाराओं में फर्जी मुकदमे में फंसाकर जिंदगी बर्बाद करने की धमकी दी। इसका आडियो और वीडियो सोशल मीडिया में जमकर वायरल हो रहा है।
मामले में सवाल यह उठता है कि जब मामले के आरोपी इंस्पेक्टर ही प्रकरण की जांच करेंगे तो पीड़िता को न्याय मिलना सूरज पश्चिम से निकलने जैसी बात होगी। भूमि विवाद के मामले में खागा कोतवाली प्रभारी का महिला और पुत्रों को धमकी देने का आडियो इंटरनेट मीडिया पर तेजी से प्रसारित हो रहा है। प्रसारित आडियो खागा नगर के रेलवे स्टेशन निवासी नसरीन बानो पत्नी मो. इजहार से संबंधित बताया जा रहा है। आडियो में कोतवाली प्रभारी अरुण चतुर्वेदी बार-बार जमीन की कीमत बढ़ाकर बैनामा दूसरे पक्ष को करने की बात कह रहे हैं। दूसरे पक्ष से कोई युवक कह रहा है कि हमने रुपये देकर बैनामा कराया है। इस पर कोतवाली प्रभारी एक बार कहते हैं कि यदि नहीं मान रहे हो तो एक लड़की है, उसकी तहरीर पर दुष्कर्म का मुकदमा दर्ज कर देंगे। भूमि विवाद के मामले में खागा कोतवाली प्रभारी का महिला और पुत्रों को धमकी देने का जो आडियो इंटरनेट सोशल मीडिया पर प्रसारित हो रहा है, उसमें महिला नसरीन बानो ने पुलिस महानिरीक्षक प्रयागराज को अपनी आपबीती बताई। महानिरीक्षक प्रयागराज ने पुलिस अधीक्षक को जांच के लिए आदेशित किया। वहीं पुलिस अधीक्षक ने संबंधित क्षेत्राधिकारी को कार्यवाही को आदेशित किया। यहां तक तो बात सही थी। हद तो तब हो गई जब संबंधित क्षेत्राधिकारी ने उसी इंस्पेक्टर को जांच दे दी। जिसके ऊपर धमकी के आरोप लगाए गए हैं।