अंकारा/ दमिश्क। तुर्की और सीरिया में सोमवार को आए विनाशकारी भूकंप ने बड़ी तबाही मचाई है। भूकंप से अब तक कम से कम 4,000 लोगों के मौत की पुष्टि हुई है। चारों तरफ मलबा ही मलबा नजर आ रहा है, मलबे से लोगों को निकाला जा रहा है । मृतकों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है। राहत और बचाव कार्य भी जारी हैं।
मिली जानकारी के मुताबिक तुर्की में 24 घंटे के भीतर तीन बार आए भूकंप के बड़े झटकों से धरती हिलती रही। भूकंप की तीव्रता क्रमशः 7.8, 7.6 और 6.0 बताई गई। इससे अब तक मरने वालों की कुल संख्या 4,000 से अधिक बताई जा रही है। संयुक्त राष्ट्र के एक अधिकारी का कहना है, ‘ज़रूरतमंद लोगों की संख्या बढ़ती जा रही है और संकट गहराता जा रहा है।’
सीरिया के उत्तरी शहर अतरेब के अब्दुल सलाम अल-महमूद ने कहा कि यह सर्वनाश की तरह है, यहां कड़ाके की ठंड है और भारी बारिश हो रही है, इससे लोगों को बचाने की जरूरत है। दूसरे भूकंप से और इमारतों को जमींदोज कर दिया, भूकंप का दूसरा और तीसरा तेज झटका भी पहले की तरह था। जिसके बाद मलबे से हताहतों को निकालने और राहत बचाव कार्य में जुटे बचावकर्मियों के लिए संघर्ष और खतरा अधिक बढ़ गया।
दक्षिण-पूर्व तुर्किये के दियारबाकिर में, सात मंजिला ब्लॉक के मलबे के बगल में बात कर रही एक महिला ने कहा कि हमारा घर झूले की तरह झूल गया था। घर में हम में से नौ लोग थे। मेरे दो बेटे अभी भी मलबे में हैं। मैं उनका इंतजार कर रही हूं। इस हादसे में महिला का हाथ टूट गया है और उसके चेहरे पर चोट के निशान आए हैं।
अगस्त 2021 में दूरस्थ दक्षिण अटलांटिक में भूकंप के बाद से अमेरिकी भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण द्वारा दुनिया भर में दर्ज किया गया यह भूकंप सबसे बड़ा भूकंप था।
तुर्किये के उपराष्ट्रपति फुआत ओकटे ने बताया मरने वालों की संख्या बढ़कर 1,541 हो गई है। वहीं विद्रोहियों द्वारा नियंत्रित उत्तर-पश्चिमी क्षेत्र में दमिश्क सरकार और बचावकर्मियों के आंकड़ों के अनुसार, सीरिया में कम से कम 928 लोग मारे गए।
तुर्किये के दक्षिण में सबसे बुरी तरह प्रभावित शहरों में खराब इंटरनेट कनेक्शन और क्षतिग्रस्त सड़कें, लाखों लोगों के बेघर होने से राहत बचाव कार्य प्रभावित हुआ है।
कुछ क्षेत्रों में तापमान रात भर में शून्य से नीचे जाने की उम्मीद है, मलबे के नीचे फंसे या बेघर हुए लोगों के लिए स्थिति बिगड़ती जा रही थी। सप्ताहांत में देश में आए बर्फीले तूफान के बाद सोमवार को बारिश हो रही थी।