बांदा। जिलाधिकारी दीपा रंजन की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभागार कक्ष में प्रधानमंत्री किसान सम्मान, फसल बीमा, कृषि विज्ञान केन्द्र द्वारा संचालित कार्यक्रमों, आत्मा योजनाओं एवं खाद, बीज एवं कृषि यंत्र वितरण, जीआई टैगिंग तथा कठिया गेहूं को ओडीओपी में शामिल कराने की समीक्षा की गई, जिसमें मुख्य विकास अधिकारी, उप कृषि निदेशक, जिला कृषि अधिकारी, अध्यक्ष केवीके, जिला उद्यान अधिकारी, महाप्रबन्धक जिला उद्योग केन्द्र, भूमि संरक्षण अधिकारी रा. जला. तथा ज्येष्ठ विपणन निरीक्षक द्वारा प्रतिभाग किया।
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की समीक्षा में लैण्ड सीडिंग में अवशेष डाटा 42152 के सम्बन्ध में निर्देशित किया गया कि उनकी ओर से सभी तहसीलदारों एवं उप जिलाधिकारियों को माह मार्च तक शतप्रतिशत लैण्ड सीडिंग कराने के निर्देश निर्गत किये जायें एवं खाद्य एवं रसद विभाग के डाटा से कृषि विभाग के डाटा की मैचिंग कराई जाए। आधार सीडिंग के संबंध में अवशेष डाटा के लाभार्थियों को अपने क्षेत्रीय कर्मचारियों के माध्यम से पोस्ट आफिस में नया खाता खुलवाने के लिए कैम्प आयोजित कराकर एक सप्ताह के अन्दर पूर्ण कराया जाए। अध्यक्ष कृषि विज्ञान केन्द्र बादा द्वारा संचालित कार्यक्रमों की समीक्षा के समय जिलाधिकारी ने निर्देशित किया कि प्रत्येक विकासखण्ड में एक-एक प्रगतिशील कृषक के यहां माडल फार्म तैयार कराएं जिसमें उद्यान, पशुपालन, जल संरक्षण आदि के समेकित कार्यक्रम संचालित हों, जिसका अवलोकन क्षेत्रीय कृषकों को कराकर उन्हें प्रेरित किया जाए। जनपद में गेहूं की सबसे कम उत्पादकता कम होने का कारण धान की विलंब से रोपाई होने के कारण गेहूं की बुवाई विलंबित होने की बात पर जिलाधिकारी द्वारा कृषि विज्ञान केन्द्र के अध्यक्ष डा. श्याम सिंह को निर्देशित किया गया कि अल्प अवधि की धान की प्रजातियां विकसित की जाएं, ताकि समय से गेहूं की बुवाई की जा सके और उत्पादकता बढ़ाई जा सके।